क्या दुआ करूँ मैं मेरे अपनों के लिए SHARE FacebookTwitter क्या दुआ करूँ मैं मेरे अपनों के लिए, ऐ खुदा; बस यही दुआ है कि मेरे अपने कभी किसी दुआ के 'मोहताज़' न हो। शुभ दिन। SHARE FacebookTwitter
चाँद ने अपनी चांदनी बिखेरी है; और तारों ने आसमान को सजाया है; लेकर तोहफ़ा अमन .......Read Full Message
भगवान करे क्रिस्मस की सभी ख़ुशियाँ आपके हृदय में निवास करें; इसीलिए हमारी तरफ से आप और आपके सभी प.......Read Full Message
सब के हाथों में कुछ लकीरें हैं; बनती जिनसे सब की तक़दीरें हैं; दुआ करते हैं आपके हाथों में वो लकी.......Read Full Message